
26 लड़कियों का हत्यारा अमेरिका का 91 साल का सीरियल अल्फ़ाबेट किलर !
नामक एक डॉक्यूमेंट्री फिल्म अमेरिका के ऑक्सीजन चैनल पर पर रिलीज हो रही है। इसमें नासो नाम के सीरियल किलर की कहानी के साथ उसके इंटरव्यू भी देखने को मिलेंगे। कौन था यह सीरियल किलर ? अमेरिका का एक अच्छा भला साधारण सा नागरिक किस कारण इतना कुख्यात हो गया ? एक शांत जीवन जीने वाला व्यक्ति कैसे एक सनसनीखेज़ हत्यारा बन गया ? आइए ! जानते हैं इस कहानी को !
13 सितंबर 2025 को ‘Death Row : Confidential Secrets of a Serial Killer ‘ नामक एक डॉक्यूमेंट्री फिल्म अमेरिका के ऑक्सीजन चैनल पर पर रिलीज हो रही है। इसमें नासो नाम के सीरियल किलर की कहानी के साथ उसके इंटरव्यू भी देखने को मिलेंगे। कौन था यह सीरियल किलर ? अमेरिका का एक अच्छा भला साधारण सा नागरिक किस कारण इतना कुख्यात हो गया ? एक शांत जीवन जीने वाला व्यक्ति कैसे एक सनसनीखेज़ हत्यारा बन गया ? आइए ! जानते हैं इस कहानी को !
वर्ष 1934 में अमेरिका के न्यूयॉर्क में एक मध्यम वर्ग के परिवार में जोसेफ नासो नाम का एक बच्चा जन्मा, जो बेहद शांत स्वभाव का और प्रकृति से प्यार करने वाला बालक था। युवा होकर नासो ने कुछ वक्त US एयर फोर्स में काम किया और उसके बाद फोटोग्राफी में अपना कॅरियर बनाने का सोचा। लेकिन रिपोर्ट के मुताबिक पत्नी से तलाक के बाद यह शांत स्वभाव का नासो साइकिक किलर बन गया। सजा तो उसे चार लड़कियों की हत्या करने की मिली, लेकिन जेल में नासो के साथी कैदी नोगवेरा के अनुसार उसने दावा किया कि वह भले ही 4 हत्याओं के लिए जेल में है लेकिन उसने 26 लड़कियों की हत्या की है। इसके बाद अब वह अल्फाबेट किलर के नाम से मशहूर हो गया।
जोसेफ नासो, जो अब 91 वर्ष का है और कैलिफ़ोर्निया की सान क्विंटन जेल में सज़ा काट काट रहा है हालाँकि नासो को 2013 में कैलिफ़ोर्निया में मौत की सजा सुना दी गयी थी। मैरिन काउंटी सुपीरियर कोर्ट के न्यायाधीश एंड्रयू स्वीट ने नासो को उत्तरी कैलिफोर्निया की तीन महिलाओं की हत्या के लिए मौत की सजा और चौथी महिला की हत्या के लिए आजीवन कारावास की सजा सुनायी।
उसने यह कुख्यात उपनाम उन महिलाओं की हत्या के लिए अर्जित किया जिनके नाम और उपनाम एक ही अक्षर से शुरू होते थे। उसे 2013 में 1977 में फेयरफैक्स के पास 18 वर्षीय रॉक्सीन रोगाश, 1978 में पोर्ट कोस्टा में 22 वर्षीय कारमेन कोलोन, 1993 में युबा काउंटी में 38 वर्षीय पामेला पार्सन्स और 1994 में युबा काउंटी में 31 वर्षीय ट्रेसी टफ़ोया की हत्या के लिए दोषी ठहराया गया था। इन सभी नामों में तीन चीज कॉमन है (1) यह सभी महिलाएँ हैं। (2) सभी के नाम के प्रथम अक्षर और उपनाम के पहले अक्षर एक ही है , और (3) – सभी एक ही सीरियल किलर का शिकार हुई थीं, जिसे अब अल्फाबेट किलर कहते हैं क्योंकि यह नाम के अक्षर देखकर अपने शिकार का चुनाव करता था ।
नासो की सनसनीख़ेज़ कहानी एक बार फिर से लोगों के बीच चर्चा में है। नासो के टारगेट में दो चीजें कॉमन थी, पहली, लड़कियों के नाम और उप-नाम का पहला अक्षर एक ही होता था, और दूसरी, लड़कियाँ या तो मॉडल या प्रॉस्टिट्यूट या फिर नशा करने वाली होती थीं। एक बार टारगेट पक्का करने के बाद नासो प्रोफेशनल फोटोग्राफर बनकर उनसे मिलने जाता था। ड्रिंक में बेहोशी की दवा मिलाकर वह उन्हें मारने की एक्टिंग करने या पोज देने को कहता था। फोटो क्लिक करता था। फिर उन्हें रेप करके गला घोंट कर मार डालता था।
साथी कैदी बिल नोगुएरा ने बताया कि नासो एक दशक से अधिक समय तक अपने अपराधों के बारे में डींगें हाँकता रहा, जिसमें कुछ सबसे कुख्यात हत्याओं का विवरण भी शामिल था। नोगुएरा के अनुसार, नासो ने अपने दस पीड़ितों को “सबसे बड़ी सफलता” बताया था। उनमें से एक 19 वर्षीय पामेला लैम्बसन भी थी, जिसे नासो ने ओकलैंड A’s की आधिकारिक फ़ोटोग्राफ़र होने का नाटक करके अपने जाल में फँसाया था। लिटिल लीग के पूर्व कोच और स्कूल फ़ोटोग्राफ़र नासो ने 1977 के अंत में लैम्बसन का बलात्कार करके उसकी हत्या कर दी और फिर उसकी लाश एक पेड़ के सामने रख दी।
नासो कथित तौर पर तब भड़क गया जब उसकी सूची में शामिल इस हत्या का आरोप गलती से सैन क्वेंटिन जेल के ही एक साथी कैदी रॉडनी अल्काला पर लगा दिया गया, जिसे “डेटिंग गेम किलर” के नाम से जाना जाता है। नोगुएरा ने कहा कि इस गड़बड़ी से नासो नाराज़ था क्योंकि मीडिया रिपोर्टों में अल्काला को एक “पेशेवर” फ़ोटोग्राफ़र के रूप में भी पहचाना गया था।
हालाँकि नासो द्वारा लैम्बसन की हत्या का आरोप पूर्व के निष्कर्षों से बिल्कुल मेल नहीं खाता । 2011 में, मारिन काउंटी के अधिकारियों ने घोषणा की कि उन्हें विश्वास है कि अल्काला उसकी मौत के लिए ज़िम्मेदार है। अल्काला, जिसकी 2021 में जेल में मृत्यु हो गयी, ने हत्या से इनकार किया, जबकि उसने दूसरों के सामने स्वीकार किया था। उस समय जाँचकर्ताओं ने महिलाओं को लुभाने के लिए पेशेवर फ़ोटोग्राफ़र के रूप में प्रस्तुत होने के उसके इतिहास की ओर इशारा किया था। नोगुएरा ने वैनिटी फ़ेयर को बताया, “यह बात उसे बहुत परेशान करती थी। इसलिए वह अक्सर इस बारे में बात करता था कि ‘उन्होंने उसे मेरी एक हत्या के लिए पकड़ा था।'”
अमेरिका कि पत्रिका न्यूज़ वेक के अनुसार नोगुएरा के साथ सहयोग करने वाले कोल्ड-केस जासूस केन मेन्स ने कहा कि लैम्बसन का परिवार हमेशा यह सवाल उठाता था कि क्या अल्काला ही असली हत्यारा है। लैम्बसन के भाई माइकल ने याद किया कि फोटोग्राफर से मिलने से पहले उसने उसे यह कहकर आश्वस्त किया था, “वह मेरे पिता हो सकते हैं।” मेन्स ने बताया कि उस समय चालीस के आसपास के नासो, अल्काला की तुलना में, उम्र में उसके पिता के करीब लगते थे।हालाँकि नासो पहले से ही मौत की सज़ा पर है, नए दावे नासो के भाग्य से कहीं ज़्यादा महत्वपूर्ण हैं। जाँचकर्ताओं के लिए, ये सवाल खड़े करते हैं कि क्या अनसुलझे मामलों के लिए दूसरे हत्यारों को ग़लत तरीके से दोषी ठहराया गया था।
लैम्बसन के अलावा, नासो ने कथित तौर पर 1975 में माउंट तामलपाइस पर छोड़ी गयी एक और पीड़िता के बारे में भी बताया, जिसका वर्णन लाल बालों और नीली आँखों वाली एक युवती के रूप में किया गया था।
कथित तौर पर नासो ने अपने कम से कम छह पीड़ितों की तस्वीरें खींचीं, मानो उन्हें मारने से पहले उन्हें मृत घोषित कर दिया गया हो। उसने यह भी स्वीकार किया कि वह द डोर्स का ‘राइडर्स ऑन द स्टॉर्म’ गाना सुनते हुए शिकार ढूँढ़ता था, और इस पंक्ति से मंत्रमुग्ध हो जाता था, “There is a killer on the road /His brain is squirming like a tod “(सड़क पर एक हत्यारा है/उसका दिमाग मेंढक की तरह मचल रहा है) ।
जोसेफ नासो अचानक ही पुलिस के हाथ लग गया जब रूटीन चेकिंग के दौरान पुलिस को उसके पास बिना लाइसेंस की गन रखने की खबर मिली। उसके घर की तलाशी के दौरान पुलिस को एक डायरी और दीवार पर लगी कई लड़कियों की तस्वीरें मिली। जाँच में पता चला कि यह कोई मामूली क्रिमिनल नहीं बल्कि एक साइको अल्फाबेट किलर है।
Rise on the storm गाने की लाइन सुन सुनकर अपने टारगेट ढूँढ़ने वाले नासो का केस 26 लड़कियों की हत्या के बाद एक बार फिर से खुल सकता है।