जी डी गोयनका इंटरनेशनल स्कूल में मनाया गया ग्रैंड पेरेंट्स डे
सूरत। बच्चों के जीवन में दादा-दादी बहुत अहम भूमिका निभाते हैं और कहा जाता है कि दादा-दादी बच्चे ही नही हर किसी के जीवन में एक अहम भूमिका निभाते हैं। वे बिना शर्त प्यार, दया, धैर्य, हास्य का जीवन पाठ पढ़ाते हैं। एक बच्चे को सुरक्षित एवं पूर्ण रूप से बड़ा होने के लिए दादा-दादी की ज़रूरत होती है।
बच्चे के समग्र विकास में अपने दृढ़ विश्वास के साथ, जीडी गोयनका इंटरनेशनल स्कूल इस आधुनिक युग में भी मूल्यों को कायम रखे हुए है। ऐसा ही एक कार्यक्रम ग्रैंड पेरेंट्स डे 09 सितम्बर 23 शनिवार को आयोजित किया गया। कार्यक्रम में शामिल दादा-दादी और नाना-नानी के चेहरे खुशी, उत्साह और उल्हास से भरे हुए थे, क्योंकि जी.डी. गोयनका इंटरनेशनल स्कूल के उभरते सितारों ने अपने दादा-दादी के प्रति अपना प्यार और स्नेह दिखाया।
नर्सरी और किंडरगार्टन के छात्रों ने अपने दादा-दादी के स्वागत के लिए विभिन्न सांस्कृतिक कार्यक्रमों में भाग लिया। सेवानिवृत्त लेफ्टिनेंट कर्नल श्री शिवनाथ सिंह भदौरिया, उत्तर प्रदेश के खाद्य सुरक्षा एवं औषधि प्रशासन मंत्री डाॅ. दयाशंकर मिश्रा जी ने दर्शकों को संबोधित किया और हमारे आसपास बुजुर्ग लोगों के मौजूद होने के महत्व पर जोर दिया। इस कार्यक्रम में इंचार्ज प्रिंसिपल सुश्री हेतल तमकुवाला, डायरेक्टर ऑपरेशंस श्रीमती सेजल ठक्कर, प्रशासक श्री किसन लंगालिया एवं विभिन्न विंगों के समन्वयक उपस्थित थे। कार्यक्रम की शुरुआत गणेश वंदना से हुई और अन्य सांस्कृतिक कार्यक्रमों के साथ कार्यक्रम आगे बढ़ा। साथ ही विभाग समन्वयक अंकिता मुलिया ने वेलकम स्पीच से अतिथियों का स्वागत किया। दादाजी और नानी ने डांस के रूप में आभार व्यक्त किया।
नन्हे-मुन्नों ने इस अद्भुत दिन का भरपूर आनंद उठाया। कार्यक्रम का मुख्य आकर्षण हमारे आर्ट टीचर श्री किशोर मिस्त्री के मार्गदर्शन में छात्रों द्वारा मंच पर की गई लाइव पेंटिंग थी। नर्सरी और केजी के छात्रों द्वारा बड़े संदेश के साथ एक छोटी नाटिका प्रस्तुत की गई। कार्यक्रम का समापन सहायक श्रीमती श्रेया नांग द्वारा दिए गए धन्यवाद प्रस्ताव के साथ हुआ और अंत में राष्ट्रगान गाया गया। सम्पूर्ण कार्यक्रम निदेशक प्राचार्या श्रीमती जयश्री चोरारिया, इंचार्ज प्रिंसिपल-सुश्री हेतल- तमकुवाला, प्री-प्राइमरी सेक्शन कोऑर्डिनेटर- श्रीमती अंकिता मुलिया और एक्टिविटी इंचार्ज – श्री चेतन जादव के मार्गदर्शन में आयोजित किया गया था।