सूरत: भरूच के अंकलेश्वर निवासी एक महिला के ब्रेनडेड होने पर परिजनों ने अंगदान करने का निर्णय किया। इसमें हृदय, लिवर, किडनी और चक्षुओं के दान से पांच लोगों को नया जीवन मिला है। दान में मिला हार्ट भावनगर निवासी 44 वर्षीय व्यक्ति में ट्रांसप्लांट किया गया। डोनेट लाइफ द्वारा हृदय दान की 53वीं घटना है। जबकि भरूच जिले से हृदय दान की दूसरी घटना है।
जानकारी के अनुसार, भरुच जिले की अंकलेश्वर तहसील पिरामण गांव टांकी फलिया निवासी सुनीताबेन किरण कुमार रजवाडी (44) गत 18 अगस्त शाम साढ़े सात बजे चक्कर आकर बेहोश हो गई। परिजतों ने अंकलेश्वर के नित्यानंद अस्पताल में भर्ती करवाया। सीटी स्कैन रिपोर्ट करवाने पर ब्रेन हैमरेज की पुष्टि हुई। बेहतर इलाज के लिए उनको सूरत के किरण अस्पताल में भर्ती करवाया गया। न्यूरोसर्जन ने ऑपरेशन करके रक्त की गांठ को दूर किया, लेकिन बाद में उनको अंकलेश्वर श्रीमती जयाबेन मोदी अस्पताल में भर्ती करवाया गया। चिकित्सकों ने 31 अगस्त को उनको ब्रेनडेड घोषित किया। डॉक्टर से घटना की जानकारी डोनेट लाइफ प्रमुख निलेश मांडलेवाला को मिली। उन्होंने परिजनों से मिलकर अंगदान के बारे में बताया। परिवार से सहमति मिलने के बाद स्टेट ऑर्गन टिश्यू ट्रांसप्लांट ऑर्गेनाइजेशन (एसओटीटीओ) को दी गई। दान में मिला हृदय ट्रांसप्लांट भावनगर के निवासी 44 वर्षीय व्यक्ति में अहमदाबाद के यूएन मेहता अस्पताल में किया गया।
दान में मिला लिवर और एक किडनी का ड्यूल ट्रांसप्लांट दिल्ली निवासी 47 वर्षीय व्यक्ति में अहमदाबाद के जायडस अस्पताल में किया गया। एक मरीज में दो अंगों का ट्रांसप्लांट एक साथ करना काफी जटिल ऑपरेशन है। अन्य एक किडनी का ट्रांसप्लांट अहमदाबाद के अस्पताल में जरुरतमंद मरीज को किया गया। चक्षुओं का दान श्रीमती जयाबेन मोदी अस्पताल में संचालित जीसी नहार आई बैंक ने स्वीकार किया। हृदय को समय से अहमदाबाद पहुंचाने के लिए अंकलेश्वर के अस्पताल से सूरत एयरपोर्ट तक का सडक़ मार्ग ग्रीन कॉरिडोर बनाया गया। इसमें शहर व ग्रामीण पुलिस के जवानों ने अंगदान ले जाने वाले वाहनों को सबसे पहले पास देकर गंतव्य तक पहुंचाने में मदद की।